भारत सरकार ने तुर्की के पाकिस्तान के प्रति समर्थन के चलते कई निर्णायक कदम उठाए हैं, जो विभिन्न क्षेत्रों में प्रभावी हुए हैं।
भारत ने तुर्की की कंपनी Celebi Airport Services India की सुरक्षा मंजूरी रद्द कर दी है। यह कंपनी दिल्ली, मुंबई और बेंगलुरु सहित नौ प्रमुख भारतीय हवाई अड्डों पर ग्राउंड हैंडलिंग और कार्गो सेवाएं प्रदान करती थी। यह निर्णय राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं के चलते लिया गया, विशेष रूप से तुर्की द्वारा पाकिस्तान को ड्रोन और सैन्य सहायता प्रदान करने के बाद, जो हाल ही में भारत पर ड्रोन हमलों में उपयोग किए गए थे।
तुर्की ने BRICS समूह की पूर्ण सदस्यता के लिए आवेदन किया था, लेकिन भारत ने इसके विरोध में अपनी स्थिति स्पष्ट की। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने BRICS सम्मेलन में कहा कि नए सदस्यों को शामिल करने के लिए सभी संस्थापक सदस्यों की सहमति आवश्यक है। भारत ने तुर्की को केवल "पार्टनर कंट्री" का दर्जा देने का समर्थन किया, जिससे तुर्की की पूर्ण सदस्यता की संभावना कम हो गई।
MakeMyTrip और EaseMyTrip जैसी प्रमुख यात्रा एजेंसियों ने तुर्की और अज़रबैजान के लिए यात्रा बुकिंग में 60% की गिरावट और 250% की वृद्धि दर्ज की है। इसके अलावा, विदर्भ टैक्सपेयर्स एसोसिएशन (VTA) ने भारतीय नागरिकों से इन देशों की यात्रा से बचने का आग्रह किया है।
भारतीय जनता पार्टी (BJP) के विधायक राजेश्वर सिंह ने तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगन की पाकिस्तान के प्रति समर्थन और कट्टरपंथी इस्लामी नेटवर्क्स के साथ संबंधों की कड़ी आलोचना की है। उन्होंने तुर्की पर आतंकवाद का समर्थन करने और कश्मीर मुद्दे पर भारत के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करने का आरोप लगाया है।
इन सभी कदमों से स्पष्ट है कि भारत ने तुर्की के पाकिस्तान के प्रति समर्थन के खिलाफ एक सख्त और समन्वित रुख अपनाया है, जो विभिन्न क्षेत्रों में दिखाई दे रहा है।