हाल ही में भारत की संसद के दोनों सदनों ने 'शांति' विधेयक को पास कर दिया है। इस विधेयक के पास होने से पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान ने अपनी प्रतिक्रिया दी है।
इस विधेयक को पास करने में यह दावा किया गया है कि, इस विधेयक से निजी क्षेत्रों को न्यूक्लियर एनर्जी में निवेश करने का मौक़ा मिलेगा। लेकिन दूसरी ओर पाकिस्तान ने इसे लेकर चिंता जताई है।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ताहिर अंद्राबी ने गुरुवार को साप्ताहिक प्रेस ब्रीफ़िंग के दौरान कहा, "भारत में परमाणु सुरक्षा से जुड़ी चिंताजनक घटनाओं के इतिहास को देखते हुए हम इन घटनाक्रमों पर क़रीबी नज़र रख रहे हैं।"
Weekly Press Briefing by the Spokesperson @TahirAndrabi
— Ministry of Foreign Affairs - Pakistan (@ForeignOfficePk) December 18, 2025
On the Involvement of Private Sector in India’s Nuclear Sector pic.twitter.com/SDSmJ79jTI
उन्होंने कहा, "1990 के दशक से अब तक रेडियोएक्टिव सामग्री की चोरी और अवैध बिक्री की कई घटनाएं सामने आ चुकी हैं।"
हालांकि प्रवक्ता ताहिर अंद्राबी ने यह नहीं बताया कि यह घटनाएं कहां हुई हैं। उनका कहना है कि संवेदनशील परमाणु सामग्री और उससे जुड़ी जानकारी के प्रबंधन में निजी क्षेत्र की भागीदारी चिंता का विषय हो सकती है।
उन्होंने कहा, "इससे निजी व्यक्तियों की संवेदनशील परमाणु सामग्री तक पहुंच रोकने के लिए किए जा रहे वैश्विक प्रयासों को चुनौती मिल सकती है।"
ताहिर अंद्राबी ने कहा कि उम्मीद है कि ऐसी किसी भी स्थिति से बचने के लिए पर्याप्त सुरक्षा उपाय किए जाएंगे।
वहीं इस बिल के पास होने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर गुरुवार को लिखा, "यह बिल एआई को सुरक्षित रूप से ऊर्जा देने से लेकर ग्रीन मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने तक, देश और दुनिया के लिए स्वच्छ ऊर्जा के भविष्य को मज़बूती देता है।"
The passing of the SHANTI Bill by both Houses of Parliament marks a transformational moment for our technology landscape. My gratitude to MPs who have supported its passage. From safely powering AI to enabling green manufacturing, it delivers a decisive boost to a clean-energy…
— Narendra Modi (@narendramodi) December 18, 2025
पीएम मोदी का कहना है कि इससे निजी क्षेत्र और हमारे युवाओं के लिए भी अनेक अवसर खुलते हैं।∎